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म्यूचुअल फंड की स्कीम्स में निवेश करना कैसे शुरू करें?

अब म्यूचुअल फंड्स में निवेश करना इतना आसान और सरल हो गया है कि कोई व्यक्ति अतिरिक्त दस्तावेज़ों के बिना कई फंड्स में निवेश करने के बारे में सोच सकता है। म्यूचुअल फंड में पहली बार निवेश करने वाले निवेशकों को अपना KYC पूरा करना होगा जो एक बार की प्रक्रिया है। KYC सत्यापन पूरा करने में आपकी मदद करने के लिए आप किसी डिस्ट्रिब्यूटर या निवेश सलाहकार के पास जा सकते हैं या आप ऑनलाइन ई-KYC कर सकते हैं। KYC म्यूचुअल फंड्स की दुनिया की चाबी की तरह है। अपना KYC पूरा होने के बाद, आप हर निवेश के लिए आगे सत्यापन से गुज़रे बिना किसी भी फंड में निवेश कर सकते हैं।

KYC सत्यापन के बाद निवेश करने के लिए तैयार होने पर, आप किसी म्यूचुअल फंड डिस्ट्रिब्यूटर, रजिस्टर्ड निवेश सलाहकार, स्टॉक मार्केट ब्रोकर, बैंक या किसी अन्य वित्तीय प्रतिनिधि की मदद से निवेश करने का चुनाव कर सकते हैं। लेकिन अगर आप खुद निवेश करना चाहते हैं, तो आप फंड हाउस के नज़दीकी कार्यालय में जा सकते हैं या ऑनलाइन निवेश करने के लिए उनकी वेबसाइट पर जा सकते हैं अथवा किसी ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म के माध्यम से ऐसा कर सकते हैं।

मैं म्यूचुअल फंड्स में सीधे निवेश कैसे कर सकता हूँ?

अगर आपका KYC पूरा हो चुका है तो आप म्यूचुअल फंड में सीधे ऑफलाइन या ऑनलाइन निवेश कर सकते हैं। अगर आप ऑनलाइन ट्रांज़ैक्शन करने में असहज महसूस करते हैं, तो आप नज़दीकी शाखा में जाकर फंड में निवेश कर सकते हैं।

ऑनलाइन म्यूचुअल फंड की स्कीमों में सीधे निवेश करने का सबसे आसान तरीका है और आपको कमीशन भी नहीं देना पड़ता। आप फंड की वेबसाइट या उसके RTA की साइट या फिर फिनटेक प्लेटफॉर्म से ऑनलाइन निवेश कर सकते हैं। फंड की वेबसाइट पर सीधे निवेश करने पर आपको कई लॉगिन मैनेज करने पड़ते हैं।

डायरेक्ट प्लान में निवेश करने का मतलब है कि आप फिनांशियल प्लान बनाने, अपने गोल के लिए सबसे सही फंड्स को चुनने, अपने पोर्टफोलियो को नियमित तौर पर मैनेज करने और ज़रूरत पड़ने पर उसमें फेरबदल करने की ज़िम्मेदारी लेते हैं। हर किसी को म्यूचुअल फंड में सही फंड चुनना और पोर्टफोलियो को मैनेज करना नहीं आता है। इसलिए डायरेक्ट प्लान उन निवेशकों के लिए है जो इसे आसानी से कर सकते हैं। अन्यथा, म्युचुअल फंड के बारे में कम जानकार लोगों को डिस्ट्रीब्यूटर द्वारा निवेश करने की सलाह दी जाती है।

शुरुआती लोगों के लिए म्युचुअल फंड में निवेश कैसे करें

शुरुआती लोगों के लिए म्यूचुअल फंड में निवेश कैसे करें? नए लोग हमेशा इस उलझन में रहते हैं कि म्यूचुअल फंड में निवेश कैसे करें। हालांकि म्युचुअल फंड एक अच्छा निवेश विकल्प है, फिर Mutual Fund में निवेश कैसे करे भी उनके मन में म्यूचुअल फंड की मूल बातें से संबंधित कई सवाल हैं,सर्वश्रेष्ठ म्युचुअल फंड शुरुआती लोगों के लिए, जिनके बारे में समझ होम्यूचुअल फंड्स और भी बहुत कुछ। संक्षेप में, म्युचुअल फंड एक Mutual Fund में निवेश कैसे करे निवेश का तरीका है जिसमें कई निवेशकों द्वारा विभिन्न वित्तीय साधनों में जमा किए गए धन का निवेश किया जाता है। म्यूच्यूअल फण्ड कई लोगों द्वारा इसे चुनने के प्रमुख तरीकों में से एक है। ये योजनाएं व्यक्तियों को उनके उद्देश्यों को प्राप्त करने में मदद करती हैं। तो, आइए इस लेख के माध्यम से म्यूचुअल फंड के विभिन्न पहलुओं को समझते हैं।

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म्युचुअल फंड मूल बातें का अवलोकन

शुरुआत करने के लिए, आइए पहले समझते हैं कि म्यूचुअल फंड वास्तव में क्या है। संक्षेप में, म्युचुअल फंड एक निवेश मार्ग है जो तब बनता है जब कई व्यक्ति शेयरों में व्यापार का एक सामान्य उद्देश्य साझा करते हैं औरबांड एक साथ आओ और अपने पैसे का निवेश करें। इन व्यक्तियों को निवेश किए गए धन के विरुद्ध म्यूचुअल फंड की इकाइयाँ मिलती हैं और उन्हें यूनिटधारक के रूप में जाना जाता है। म्युचुअल फंड योजनाओं का प्रबंधन करने वाली कंपनी के रूप में जाना जाता हैएसेट मैनेजमेंट कंपनी. म्यूचुअल फंड योजना के प्रभारी Mutual Fund में निवेश कैसे करे व्यक्ति को फंड मैनेजर के रूप में जाना जाता है। भारत में म्युचुअल फंड उद्योग भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड के साथ अच्छी तरह से विनियमित है (सेबी) इसका नियामक है। सेबी उस ढांचे का निर्माण करता है जिसकी सीमाओं के भीतर म्युचुअल फंड कंपनियां कार्य करती हैं।

यदि आप म्यूच्यूअल फण्ड में निवेश के लिए नए हैं तो आपको योजना का चयन करते समय बहुत सावधानी बरतनी चाहिए। अनुचित योजना चुनने से नुकसान हो सकता है और आपका निवेश खत्म हो सकता है। तो, आइए देखें कि शुरुआती लोगों के लिए सर्वश्रेष्ठ म्युचुअल फंड कैसे चुनें।

शुरुआती के लिए सर्वश्रेष्ठ म्युचुअल फंड योजनाएं: म्यूचुअल फंड योजनाओं के प्रकार

व्यक्तियों की विविध आवश्यकताओं और प्राथमिकताओं के अनुरूप तैयार की गई म्युचुअल फंड योजनाएं। तो, आइए कुछ बुनियादी म्यूचुअल फंड श्रेणियों को देखें।

इक्विटी फ़ंड

इक्विटी फंड ऐसी योजनाएं हैं जो इक्विटी से संबंधित उपकरणों में संचित धन का निवेश करती हैं। इक्विटी फंड की विभिन्न श्रेणियों में शामिल हैंलार्ज कैप फंड,मिड कैप फंड, तथास्मॉल कैप फंड. शुरुआती लोगों को पहले एक उचित विश्लेषण करने की जरूरत हैनिवेश इक्विटी योजनाओं में। वे के माध्यम से इक्विटी फंड में निवेश कर सकते हैंसिप तरीका। अगर वे इक्विटी फंड में निवेश करना चुनते हैं, तो भी वे लार्ज कैप फंड में निवेश करना चुन सकते हैं। कुछ केबेस्ट लार्ज कैप फंड जिन्हें निवेश के लिए चुना जा सकता है उनमें शामिल हैं:

Mutual Fund : कैसे करें निवेश और कमाए अधिक लाभ, जानिए, एक्सपर्ट्स की राय

कई निवेशक अपने फाइनेंशियल लक्ष्य को हासिल करने के लिए म्यूचुअल फंड स्कीम्स में निवेश करते हैं.

कई निवेशक अपने फाइनेंशियल लक्ष्य को हासिल करने के लिए म्यूचुअल फंड स्कीम्स में निवेश करते हैं.

म्यूचुअल फंड में निवेश को हमेशा लंबी अवधि के निवेश के तौर पर देखा जाता है. अगर आप लंबे समय तक म्यूचुअल फंड में निवेश बन . अधिक पढ़ें

  • News18Hindi
  • Last Updated : August 27, 2022, 09:29 IST
म्यूचुअल फंड हमेशा निवेशकों के लिए एक पसंदीदा ऑप्शन रहा है.
कई निवेशक अपने फाइनेंशियल लक्ष्य को हासिल करने के लिए म्यूचुअल फंड स्कीम्स में निवेश करते हैं.
एक्सपर्ट्स का कहना है कि ऐसी स्कीम से दूरी बनाइए, जिसकी परफॉर्मेंस लगातार खराब या अच्छी नहीं है.

नई दिल्ली. म्यूचुअल फंड हमेशा निवेशकों के लिए एक पसंदीदा ऑप्शन रहा है. कई निवेशक अपने फाइनेंशियल लक्ष्य को हासिल करने के लिए म्यूचुअल फंड स्कीम्स में निवेश करते हैं. बीते कई महीनों से मार्केट में उतार-चढ़ाव बना हुआ है. बाजार में अस्थिरता और उतार-चढ़ाव के बावजूद निवेशकों का भरोसा म्यूचुअल फंड में बना हुआ है. बढ़ती महंगाई और बढ़ती ब्याज दरों के बीच लगातार 17वें महीने जुलाई 2022 में इक्विटी स्कीम्स में इनफ्लो देखा गया.

Mutual Fund में कैसे मिलेगा दमदार रिटर्न? निवेश से पहले जान लीजिए कुछ कॉमन सवालों के जवाब

Mutual Fund Investment tips: म्‍यूचुअल फंड में निवेश आज के समय में काफी आसान है. कई ऐसे अप्‍लीकेशन और डिजिटल प्‍लेटफॉर्म हैं, जहां ऑनलाइन KYC पूरी कर निवेश शुरू किया जा सकता है. इसमें निवेशक महज 100 रुपये की SIP (सिस्‍टमैटिक इन्‍वेस्‍टमेंट प्‍लान) से भी निवेश शुरू कर सकते हैं.

Mutual Fund Investment: बाजार में जारी उतार-चढ़ाव के बावजूद म्‍यूचुअल फंड में निवेशकों का भरोसा मजबूत बना हुआ है. मार्च 2022 के दौरान इक्विटी म्‍यूचुअल फंड्स (Mutual Fund) में रिकॉर्ड 28,463 करोड़ रुपये का इनफ्लो हुआ. यह इक्विटी फंड्स का ऑल टाइम हाई निवेश है. एसोसिएशन ऑफ म्‍यूचुअल फंड्स इन इंडिया (AMFI) के आंकड़ों के मुताबिक, मार्च में लगातार Mutual Fund में निवेश कैसे करे 13वें महीने इक्विटी फंड्स में निवेश आया. म्‍यूचुअल फंड में निवेश आज के समय में काफी आसान है. कई ऐसे अप्‍लीकेशन और डिजिटल प्‍लेटफॉर्म हैं, जहां ऑनलाइन KYC पूरी कर निवेश शुरू किया जा सकता है. इसमें निवेशक महज 100 रुपये की SIP (सिस्‍टमैटिक इन्‍वेस्‍टमेंट प्‍लान) से भी निवेश शुरू कर सकते हैं. हालांकि, म्‍यूचुअल फंड में निवेश को लेकर कई तरह के ऊहापोह दिमाग में चलते हैं, जैसेकि रेग्‍युलर प्‍लान में जाएं या डायरेक्‍ट निवेश करें. एडलवाइस वेल्‍थ मैनेजमेंट के प्रेसिडेंट एंड हेड (पर्सनल वेल्‍थ) राहुल जैन से म्‍यूचुअल फंड में निवेश से पहले के कॉमन सवालों के जवाब जानते हैं.

डायवर्सिफाइड या कन्‍संट्रेटेड स्‍कीम

कुछ फंड्स का पोर्टफोलियो 50-60 कंपनियों में फैला होता है. जबकि, कुछ स्‍कीम्‍स का काफी कॉम्‍पैक्‍ट होता है, उनके पोर्टफोलियो Mutual Fund में निवेश कैसे करे में 25-30 स्‍टॉक्‍स ही होते हैं. एक कन्‍संट्रेटेड पोर्टफोलियो बाजार की रैली में रिटर्न बढ़ा सकता है, लेकिन एक डायवर्सिफाइड फंड मार्केट की गिरावट में मुनाफे को प्रोटेक्‍ट करता है. बतौर निवेशक, आपको डायवर्सिफाइड फंड्स में अपनी कोर होल्डिंग रखनी चाहिए. साथ ही कन्‍संट्रेटेड फंड में अपना कुछ निवेश सप्‍लीमेंट्री तौर पर करना चाहिए. इस स्‍ट्रैटजी से आपको मार्केट की तेजी और गिरावट दोनों ही स्थिति के लिए आपका पोर्टफोलियो बेहतर साबित होगा.

सभी म्‍यूचुअल फंड्स (Mutual Funds) में डायरेक्‍ट और रेग्‍युलर वेरिएंट्स हैं. डायरेक्‍ट प्‍लान में कोई इंटरमीडियरी नहीं होता है. इसलिए एक्‍सपेंश रेश्‍यो कम होता है. वहीं, रेग्‍युलर प्‍लान इससे अलग होता है. इसमें एक्‍सपेंस रेश्‍यो ज्‍यादा हाता है, क्‍योंकि उसमें इंटरमीडियरीज शामिल होता है. लॉन्‍ग टर्म में कम एक्‍सपेंश रेश्‍यो हायर रिटर्न ट्रांसलेट Mutual Fund में निवेश कैसे करे होता है. इसके साथ ही कम्‍पाउंडिंग के चलते लो एक्‍सपेंश रेश्‍यो से डायरेक्‍ट प्‍लान में गेन्‍स ज्‍यादा होता है. हालांकि, डायरेक्‍ट प्‍लान में तभी निवेश करना चाहिए, जब आपको मार्केट की समझ अच्‍छी हो और मार्केट के टर्म को अच्‍छी तरह समझते है. वर्ना, रेग्‍युलर प्‍लान में निवेश करना चाहिए.


एक्टिव या पैसिव फंड्स

एक्टिव फंड्स अपने बेंचमार्क इंडेक्‍स से बेहतर रिटर्न देने की क्षमता रखते हैं. दूसरी ओर, पैसिव फंड्स बामुश्किल से अपने बेंचमार्क इंडेक्‍स के बराबर रिटर्न दे पाते हैं. एक्टिव फंड्स की फीस ज्‍यादा होती है, जबकि पैसिव फंड्स में फंड मैनेजर्स की जरूरत नहीं होती है. अगर सबकुछ ठीक रहता है, तो एक्टिव फंड्स बेहतर रिटर्न दे सकते हैं. हालांकि, जब मार्केट कंडीशन बेहतर न हो, तो इनका रिटर्न बेंचमार्क इंडेक्‍स से कम रहता है. हालांकि, इस कौन-सा फंड चुनें इस बात का फैसला आपके इन्‍वेस्‍टमेंट गोल पर तय होता है.

अगर आप दमदार रिटर्न जेनरेट करना चाहते हैं तो एक्टिव फंड चुनें. दूसरी ओर, अगर आप किसी इंडेक्‍स के बराबर परफॉर्मेंस चाहते हैं, तो पैसिव फंड बेहतर ऑप्‍शन हैं. डायवर्सिफिकेशन के लिए निवेशक को Mutual Fund में निवेश कैसे करे पोर्टफोलियो में एक्टिव और पैसिव दोनों ही फंड रखने चाहिए.

बड़ा या छोटा फंड

फंड कितना बड़ा है या छोटा, यह कोई मायने नहीं रखता है. इसकी बजाय निवेश से पहले लॉन्‍ग टर्म में फंड की Mutual Fund में निवेश कैसे करे परफॉर्मेंस कैसी रही है, इसका एनॉलसिस जरूर करना चाहिए. अगर काई फंड लंबी अवधि में हाई रिस्‍क एडजस्‍टेड रिटर्न देता है, तो वह निवेश के लिए बेहतर च्‍वाइस हो सकता है. दूसरी ओर, अगर फंड का लॉन्‍ग टर्म रिटर्न अच्‍छा नहीं है, तो उसमें निवेश से बचना चाहिए. कई ऐसी स्‍माल म्‍यूचुअल फंड स्‍कीम्‍स है, जिनकी परफॉर्मेंस बड़े फंड्स से बेहतर रही है.

अगर आप किसी ओपन-एंडेड म्‍यूचुअल फंड में निवेश करते हैं, तो आप किसी भी समय एंट्री या एग्जिट कर सकते हैं. आप जरूरत पर आसानी से आंशिक रूप से निकासी कर सकते हैं या अपना निवेश अमाउंट बढ़ा सकते हैं. हालांकि, क्‍लोज-एंडेड फंड्स में आप ऐसा नहीं कर सकते हैं. इसमें निवेशकों को एकमुश्‍त निवेश करना होता है.

(डिस्‍क्‍लेमर: म्‍यूचुअल फंड में निवेश बाजार के जोखिमों के अधीन है. निवेश संबंधी फैसला लेने से पहले अपने एडवाइजर से परामर्श कर लें.)

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